कोरोना स्वास्थ्यकर्मियों को मिलता रहेगा बीमा पॉलिसी का लाभ, जल्द लागू की जाएगी नई नीति- सरकार
क्या है खबर?
कोरोना वायरस महामारी की शुरुआत में केंद्र सरकार की ओर से डॉक्टर और चिकित्साकर्मियों को दी गई 50 लाख रुपये की बीमा पॉलिसी की अवधि के खत्म होने से परेशान कोरोना स्वास्थ्यकर्मियों के लिए राहत की खबर है।
केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने स्पष्ट किया है कि सरकार ने बीमा पॉलिसी को वापस नहीं लिया है। स्वास्थ्यकर्मियों को इसका लाभ मिलता रहेगा और सरकार इसके लिए एक बीमा कंपनी से लगातार चर्चा कर रही है।
प्रकरण
स्वास्थ्यकर्मियों के परिवार की सुरक्षा के लिए दिया था 50 लाख का बीमा
बता दें कि पिछले साल कोरोना महामारी की शुरुआत के बाद स्वास्थ्यकर्मियों के परिवार की सुरक्षा के लिए केंद्र सरकार ने 26 मार्च को 50 लाख रुपये के बीमा कवर की घोषणा की थी।
यह घोषणा वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने प्रधानमंत्री गरीब कल्याण पैकेज (PMGKP) के रूप में की थी।
इस पॉलिसी का मुख्य उद्देश्य यह सुनिश्चित करना था कि महामारी के कारण किसी स्वास्थ्यकर्मी की मौत होने पर उसके परिवार का पूरा ख्याल रखा जा सके।
जानकारी
इन्हें दिया गया था बीमा का लाभ
इसी बीमा पॉलिसी का लाभ केंद्र और राज्य सरकारों के अस्पतालों में कार्यरत चिकित्सकों, नर्सों, चिकित्सा सहायकों, साफ-सफाई कर्मियों, वार्ड ब्वॉयज, आशा कर्मियों, सहायकों और अन्य स्वास्थ्य कर्मियों को दिया गया था। निजी क्षेत्र के हेल्थ वर्कर्स भी इसमें शामिल थे।
इजाफा
एक साथ के लिए बढ़ाया गया था बीमा कवर
सरकार ने शुरुआत में इस बीमा पॉलिसी को शुरुआत में 90 दिनों के लिए लागू किया था, लेकिन महामारी का प्रकोप लगातार बढ़ने और गंभीर हालातों को देखते हुए सरकार ने इसे 24 मार्च, 2021 तक के लिए बढ़ा दिया था।
उस समय स्वास्थ्यकर्मियों ने सरकार के इस फैसले का खुले दिल से स्वागत किया था। उस दौरान स्वास्थ्यकर्मियों ने कहा था कि सरकार ने बीमा पॉलिसी की अवधि को बढ़ाकर स्वास्थ्यकर्मियों के हित में बड़ा निर्णय लिया है।
पत्र
सरकार ने पॉलिसी की अवधि को आगे नहीं बढ़ाने का किया निर्णय
केंद्रीय स्वास्थ्य सचिव राजेश भूषण ने 24 मार्च को राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को पत्र लिखकर बीमा कवर को आगे नहीं बढ़ाने का निर्णय करने की बात कही थी।
उन्होंने पत्र में लिखा था कि यह योजना काफी कारगर रही और इसने कोरोना महामारी में जान गंवाने वाले स्वास्थ्यकर्मियों के परिवारों को काफी राहत दी। उन्होंने लिखा कि यह योजना 24 मार्च तक थी। ऐसे में 24 मार्च की आधी रात तक के सभी क्लैम इसमें कवर किए जाएंगे।
विरोध
डॉक्टरों ने जताया था सरकार के फैसले पर विरोध
सरकार द्वारा बीमा कवर की अवधि को नहीं बढ़ाने पर डॉक्टरों ने रोष जताया है। IMA के अध्यक्ष रवि वानखेडकर ने कहा कि यह दुखद फैसला है और सरकार की संवेदनहीनता को दिखाता है।
सरकार ने यह फैसला ऐसे समय किया है जब देश में महामारी की दूसरी लहर चल रही है। इसके बाद भी स्वास्थ्यकर्मी कम संसाधनों में लोगों की जान बचाने में जुटे हैं। उन्हें कई तरह की शारीरिक और मानसिक परेशानियों से गुजरना पड़ रहा है।
जानकारी
बीमा कंपनियों ने 287 दावों का किया निपटारा
इस बीमा पॉलिसी के तहत एक साल में बीमा कंपनी ने अब तक 287 दावों का भुगतान कर निपटारा किया है। हालांकि, इंडियन मेडिकल एसोसिएशन (IMA) के अनुसार इस अवधि में कोरोना वायरस महामारी के कारण कम से कम 736 डॉक्टरों की मौत हुई है।
स्पष्टीकरण
स्वास्थ्यकर्मियों को मिलता रहेगा पॉलिसी का लाभ- स्वास्थ्य मंत्रालय
इस मामले में सोमवार को केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने स्पष्टीकरण जारी करते हुए कहा कि सरकार स्वास्थ्यकर्मियों के लागू बीमा पॉलिसी को वापस नहीं ले रही है।
मंत्रालय ने स्पष्ट किया कि इस योजना ने महामारी से लड़ने और स्वास्थ्यकर्मियों के मनोबल को बढ़ाने में मनोवैज्ञानिक भूमिका निभाई है। ऐसे में सरकार ने कोरोना वॉरियर्स की सुरक्षा के लिए नया बीमा कवर लाने का निर्णय किया है। इसके लिए न्यूटन एश्योरेंस बीमा कंपनी से बातचीत चल रही है।
जानकारी
24 अप्रैल तक के दावों को निपटाएगी बीमा कंपनी- स्वास्थ्य मंत्रालय
स्वास्थ्य मंत्रालय ने कहा कि नई पॉलिसी के बारे में जल्द ही खुलासा किया जाएगा। इसके अलावा बीमा कंपनियां PMGKP के तहत किए गए बीमा में 24 अप्रैल, 2021 तक के दावों को कवर करेगी। यह तय अवधि से एक महीना अधिक है।