
बेंगलुरु भगदड़: कर्नाटक सरकार ने बनाई थी कार्यक्रम की योजना, राज्यपाल को किया था आमंत्रित- रिपोर्ट
क्या है खबर?
कर्नाटक की राजधानी बेंगलुरु में रॉयल चैलेंजर्स बेंगलुरु (RCB) के विजय जलूस के दौरान एम चिन्नास्वामी स्टेडियम के बाहर मची भगदड़ में मंगलवार को बड़ा खुलासा हुआ है।
राजभवन के सूत्रों की माने तो इस पूरे कार्यक्रम की योजना कर्नाटक की सिद्धारमैया सरकार ने ही बनाई थी और उसने इसके लिए राज्यपाल थावर चंद गहलोत को भी आधिकारिक रूप से आमंत्रित किया था।
ऐसे में राजभवन के इस खुलासे ने सरकार पर कई सवाल खड़े कर दिया है।
तैयारी
राज्यपाल ने भी बनाई थी खिलाड़ियों को सम्मानित करने की योजना
इंडिया टुडे ने राजभवन के सूत्रों के हवाले से लिखा कि कर्नाटक के राज्यपाल गहलोत ने RCB के खिलाड़ियों को सम्मानित करने के लिए राजभवन में समारोह आयोजित करने की योजना बनाई थी।
हालांकि, इसके बाद राज्य सरकार ने उन्हें सूचित किया कि यह समारोह विधान सौध (विधानसभा और सचिवालय) में आयोजित किया जाएगा।
सूत्र ने यह भी बताया कि मुख्यमंत्री सिद्धारमैया ने राज्यपाल को कार्यक्रम में भाग लेने के लिए आधिकारिक रूप से आमंत्रित किया था।
विरोधाभास
मुख्यमंत्री और राजभवन के बयान में निकला अंतर
मुख्यमंत्री सिद्धारमैया ने रविवार को कहा था, "मुख्य सचिव ने मुझसे कार्यक्रम के लिए पूछा था और पुलिस भी इसके लिए सहमत थी। तभी मैंने हरी झंडी दी। कर्नाटक राज्य क्रिकेट संघ (KSCA) कोषाध्यक्ष और सचिव ने मुझे आमंत्रित किया था। यह मेरे द्वारा आयोजित कार्यक्रम नहीं था। उन्होंने राज्यपाल को भी आमंत्रित किया था, इसलिए मैं इसमें शामिल हुआ। इसमें मेरी कोई भूमिका नहीं थी।"
अब राजभवन सूत्रों के बयान से मुख्यमंत्री का बयान गलत साबित हो रहा है।
जवाबदेह
KSCA ने सरकार और आयोजकों को बताया था जवाबदेह
इस घटना के बाद KSCA ने भी खुद को मामले से अलग करते हुए RCB, राज्य सरकार और कार्यक्रम के आयोजकों को जिम्मेदार ठहराते हुए कुप्रबंधन का आरोप लगाया था।
KSCA ने कहा था कि कार्यक्रम आयोजित करने का निर्णय सरकार द्वारा लिया गया था। यह चिन्नास्वामी स्टेडियम में नहीं, बल्कि विधान सौधा में आयोजित किया गया था। इस आयोजन में उसकी कोई भूमिका नहीं थी और न ही वह गेट या भीड़ प्रबंधन में शामिल था।
चेतावनी
कर्नाटक पुलिस ने भी दी थी भीड़ बढ़ने की चेतावनी
इससे पहले गत 8 जून को कर्नाटक विधानसभा सुरक्षा के पुलिस के उपायुक्त (DCP) एमएन करिबासवना गौड़ा की ओर से 4 जून को कार्मिक और प्रशासनिक सुधार विभाग के सचिव जी सत्यवती सहित अन्य शीर्ष अधिकारियों को भेजा गया एक पत्र भी सामने आया था।
उसमें उन्होंने स्पष्ट रूप से कहा था कि कार्यक्रम से लाखों प्रशंसकों के एकत्र होने की उम्मीद है। ऐसे में सुरक्षा कर्मियों की कमी को देखते हुए भीड़ का प्रबंधन करना बड़ी चुनौती होगी।
कार्रवाई
मामले में सरकार ने क्या की कार्रवाई?
इस मामले में सरकार ने सबसे पहले मुख्यमंत्री के राजनीतिक सचिव के गोविंदराज को बर्खास्त कर दिया था और सूचना विभाग के प्रमुख हेमंत निंबालकर का तबादला किया था।
इसके बाद सरकार ने पुलिस को भी जिम्मेदार मानते हुए बेंगलुरु पुलिस आयुक्त बी दयानंद, कब्बन पार्क थानाप्रभारी एके गिरीश, सहायक पुलिस आयुक्त (ADCP) सी बालाकृष्णा, केंद्रीय संभाग पुलिस उपायुक्त (DCP) शेखर एच टेक्कन्नावर, स्टेडियम के प्रभारी ACP विकास कुमार समेत 6 पुलिस अधिकारियों को निलंबित कर दिया था।
गिरफ्तारी
RCB के मार्केटिंग प्रमुख निखिल सोसाले की हुई गिरफ्तारी
इसी मामले में पुलिस ने RCB के मार्केटिंग प्रमुख निखिल सोसाले को गिरफ्तार किया था। हालांकि, उन्होंने कर्नाटक हाई कोर्ट में याचिका दायर कर गिरफ्तारी को अवैध और मनमाना बताया था।
इसके बाद KSCA के सचिव ए शंकर और कोषाध्यक्ष ई जयराम ने भी पद से इस्तीफा दे दिया था।
हालांकि, KSCA की याचिका पर हाई कोर्ट ने उसके किसी भी पदाधिकारी की गिरफ्तारी पर रोक लगा दी थी। ऐसे में मामले की जांच अभी जारी है।
पृष्ठभूमि
बेंगलुरु में कैसे मची थी भगदड़?
RCB के 3 जून को IPL 2025 का खिताब जीतने के बाद 4 जून को बेंगलुरु में विजय जुलूस निकालने का फैसला किया था।
टीम को खुली बस में विधानसभा से चिन्नास्वामी स्टेडियम जाना था, जहां 3 लाख लोग इकट्ठा थे। वो अंदर जाने को लेकर धक्का-मुक्की करने लगे।
इससे भगदड़ मची और 11 लोगों की दबकर मौत हो गई, जबकि 55 घायल हो गए। पुलिस ने RCB, KSCA और अन्य पर FIR दर्ज कर जांच CID को सौंप दी।