कोरोना वायरस: भारत में मरने वालों में 75 प्रतिशत लोगों की उम्र 60 साल से अधिक
क्या है खबर?
भारत में कोरोना वायरस के मामले लगातार बढ़ते जा रहे हैं और अब तक 488 लोगों की मौत हो चुकी है।
इसी बीच स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय ने चौंकाने वाली जानकारी दी है।
मंत्रालय के अनुसार भारत में कोरोना से 75 प्रतिशत मौत 60 साल से अधिक उम्र के लोगों की हुई है।
मरने वालों में से 83 प्रतिशत पहले से ही अन्य बीमारियों जूझ रहे थे और भारत में मृत्यु दर 3.3 प्रतिशत है।
मौत
75 प्रतिशत मौत 60 से अधिक उम्र वाले लोगों की हुई
संयुक्त सचिव अग्रवाल ने बताया कि भारत में हुई मौतों में से 14.4 प्रतिशत की उम्र 0-45 वर्ष थी।
इसी तरह 10.3 प्रतिशत की उम्र 45-60 वर्ष के बीच थी। वहीं 33.1 प्रतिशत की उम्र 60-75 वर्ष और 42.2 प्रतिशत लोगों की उम्र 75 वर्ष से अधिक थी।
ऐसे में मरने वालों में से 75 प्रतिशत की उम्र 60 वर्ष से अधिक थी।
उन्होंने बताया कि मरने वालों में 83 प्रतिशत लोग पहले से ही अन्य बीमारियों से ग्रसित थे।
संक्रमण
24 घंटे में सामने आए 991 नए मामले
संयुक्त सचिव लव अग्रवाल ने बताया कि पिछले 24 घंटों में 991 नए मामले सामने आए हैं। इसी तरह 43 लोगों की मौत हुई है।
उन्होंने कहा कि अब तक कुल 13.85 प्रतिशत यानी 1,992 मरीज बीमारी से उबर चुके हैं। इन सभी को अस्पताल से छुट्टी दे दी गई है।
उन्होंने बताया कि देश में कोरोना से स्वास्थ्य होने और मौत का अनुपात 4:1 का रहा है। शनिवार सुबह संक्रमितों की कुल संख्या 14,378 हो गई है।
जानकारी
शनिवार शाम पांच बजे तक हुई 488 लोगों की मौत
स्वास्थ्य मंत्रालय के अनुसार शनिवार शाम 5 बजे तक देश में कोरोनों संक्रमितों की कुल संख्या 14,792 पहुंच गई है। 12,289 सक्रिय मामले हैं और 488 लोगों की मौत हो गई। इसी तरह 2,014 मरीज स्वास्थ हो गए और एक मरीज विदेश चला गया।
सुधार
इन दो जिलों में गत 28 दिनों में नहीं आया कोई नया मामला
संयुक्त सचिव अग्रवाल ने बताया कि पुदुचेरी के माहे और कर्नाटक के कोडागु जिले में गत 28 दिनों में संक्रमण का नया मामला सामने नहीं आया है।
इस तरह 23 राज्यों के 45 जिलों में 14 दिनों में कोई भी नया मामला नहीं है। हालाँकि, तीन जिलों में 14 दिन पहले नया सकारात्मक मामले सामने नहीं आया था, वहां अब नए मामले सामने आ गए हैं।
इनमें बिहार का पटना, पश्चिम बंगाल का नादिया और हरियाणा का पानीपत शामिल है।
जिले
इन जिलों में गत 14 दिनों में नहीं आया कोई भी नया मामला
संयुक्त सचिव अग्रवाल ने बताया कि आंध्र प्रदेश के विशाखापट्टनम, अरुणाचल प्रदेश के लोहित, असम के करीमगंज, गोलाघाट, कामरूप ग्रामीण, नलबाड़ी और दक्षिण सालमारा-मनकाचर, बिहार के भागलपुर, गोपालगंज और लखीसराय में कोई मामला नहीं आया है।
इसी तरह हरियाणा के रोहतक और चरखी दादरी, जम्मू और कश्मीर के पुलवामा, कर्नाटक के चित्रदुर्ग, मणिपुर के थौबल, ओडिशा के भद्रक और पुरी, पंजाब के होशियारपुर, राजस्थान के उदयपुर और धौलपुर और पश्चिम बंगाल के जलपाईगुड़ी में नया मामला नहीं आया है।
तबलीगी जमात
देश के कुल मामलों में से 30 प्रतिशत तबलीगी जमात से जुड़े
संयुक्त सचिव अग्रवाल ने बताया कि देश में मिले कुल संक्रमितों में से 29.8 प्रतिशत यानी 4,291 मामले तबलीगी जमात के कार्यक्रम से जुड़े हैं।
यह कार्यक्रम दिल्ली के निजामुद्दीन स्थित मरकज में आयोजित हुआ था।
जमात से जुड़े मामले 23 राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में पाए गए हैं। इनमें सबसे ज्यादा मामले तमिलनाडु में 84 प्रतिशत, तेलंगाना में 79 प्रतिशत, दिल्ली 63 प्रतिशत, आंध्र प्रदेश 61 प्रतिशत और उत्तर प्रदेश 59 प्रतिशत मामले पाए गए हैं।
अनुसंधान
HCQ की प्रभावकारिता के परीक्षण के लिए किया जा रहा है अध्ययन
ICMR में महामारी विज्ञान और संचारी रोगों के प्रमुख डॉ रमन आर गंगाखेडकर ने कहा कि भारत में हाइड्रोक्सीक्लोरोक्वीन (HCQ) पर एक कोहॉर्ट अध्ययन किया जा रहा है। आठ सप्ताह के अध्ययन में 480 मरीज शामिल हैं।
गंगाखेडकर ने HCQ को लेकर स्वास्थ्य कार्यकर्ताओं पर चल रहे अध्ययन की भी जानकारी दी। उन्होंने बताया इस दवा के सेवन के बाद 10 प्रतिशत ने पेट में दर्द, 6 प्रतिशत ने उल्टी और 1.3 प्रतिशत ने हाइपोग्लाइसीमिया की शिकायत की है।
अनुसंधान
AIIMS ने भी HCQ पर किए 2 अध्ययन
डॉ गंगाखेडकर ने यह भी कहा कि दिल्ली का अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (AIIMS) भी HCQ पर दो अध्ययन कर रहा है। वह बीमारी के लिखाफ इसकी संक्रियता और चिकित्सीय उपचार के रूप में इसकी प्रभावकारिता का परीक्षण कर रहा है।
उन्होंने यह भी कहा कि अमेरिका स्थित बायोफार्मास्युटिकल कंपनी गिलियड साइंसेज 5,500 मरीजों पर एंटीवायरल दवा रेमेडिसविर की प्रभावकारिता का परीक्षण कर रही है। यह पहले इबोला उपचार के लिए इस्तेमाल की गई थीं।