महाराष्ट्र: घुसपैठियों का पता बताने वालों को 5,000 रुपये ईनाम दे रही MNS, लगाए पोस्टर
क्या है खबर?
एक ओर जहां देशभर में नागारिकता संशोधन कानून (CAA) और राष्ट्रीय नागरिकता रजिस्टर (NRC) को लेकर पूरे देश में विरोध-प्रदर्शन हो रहे हैं, वहीं दूसरी ओर महाराष्ट्र में महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना (MNS) ने राज्य में बसे अवैध पाकिस्तानी और बांग्लादेशियों की पहचान करने वालों को ईनाम की घोषणा की है।
इसे लेकर MNS ने गुरुवार को औरंगाबाद में पोस्टर चिपकाकर अवैध रूप से बसे पाकिस्तानी और बांग्लादेशियों की सूचना देने वालों को 5,000 का इनाम देने की घोषणा की।
जानकारी
MNS ने निकाली थी रैली
इसी महीने की शुरुआत में MNS प्रमुख राज ठाकरे ने मुंबई से बांग्लादेशी और पाकिस्तानी घुसपैठियों को खदेड़ने की मांग करते हुए एक रैली का नेतृत्व किया था। इससे पहले पार्टी ने कट्टर हिंदुत्व की विचारधारा अपनाकर अपना झंडा भी बदल लिया था।
घोषणा
पोस्टर में की गई है यह घोषणा
प्रदेश में अवैध रूप से रहे पाकिस्तानी और बांग्लादेशियों को बाहर निकालने के लिए पार्टी की ओर औरंगाबाद में कई जगह पोस्टर चिपकाएं गए हैं।
इन पोस्टरों की शुरुआत 'घुसपैठी हटाओ, देश बचाओ' के नारे के साथ की गई है। इसके बाद लिखा है कि प्रदेश में आकर अवैध रूप से बसे पाकिस्तानी और बांग्लादेशी घुसपैठियों के बारे में जो भी सूचना देगा, उसे महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना की ओर से 5,000 रुपये का इनाम दिया जाएगा।
ट्विटर पोस्ट
यहां देखें ट्वीट
Maharashtra: Poster of Maharashtra Navnirman Sena (MNS) stating to reward with Rs 5,000 the informers who give accurate information about illegal Pakistani and Bangladeshi infiltrators, put up in Aurangabad. (27.02) pic.twitter.com/8WoGXfMq0E
— ANI (@ANI) February 28, 2020
बयान
राज ठाकरे ने दिया था कड़ा बयान
पार्टी प्रमुख राज ठाकरे ने इसी महीने की शुरुआत में निकाली गई रैली के दौरान कहा था कि गैर-कानूनी रूप से पाकिस्तान, बांग्लादेश और अफगानिस्तान से आकर भारत में बसे प्रवासियों को उठाकर बाहर फेंक देना चाहिए, न कि उन्हें नागरिकता देनी चाहिए। वो देश पर अनावश्यक बोझ हैं। ये प्रवासी आते हैं और देशभर में फैल जाते हैं। राज्यों को उनका बोझ सहना पड़ता है। वो स्थानीय युवाओं की नौकरियां छीन रहे हैं।
धर्मशाला
शरणार्थियों के लिए धर्मशाला बना भारत- ठाकरे
राज ठाकरे ने सरकार पर निशाना साधते हुए कहा था कि यह खेल खेलने के लिए वह केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह को बधाई देना चाहते हैं। उन्होंने CAA और NRC को बीच में लाकर एक ही झटके में देश में उभरे आर्थिक संकट से लोगों का ध्यान हटा दिया।
ठाकरे ने सवाल किया कि 135 करोड़ लोगों वाले देश में क्या वाकई बाहर से लोगों को लाने की जरूरत थी? या फिर भारत शरणार्थियों के लिए धर्मशाला बन चुका है।
पोस्टर
MNS ने मुंबई में भी लगाए थे पोस्टर
MNS की ओर से इसी महीने की शुरुआत में रैली से पहले महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे के आवास मातोश्री के बाहर पोस्टर लगाया गया था।
पोस्टर में लिखा था, 'माननीय मुख्यमंत्री साहब, अगर आप अवैध घुसपैठियों के खिलाफ कार्रवाई के लिए गंभीर हैं, तो पहले घुसपैठियों से भरे अपने बांद्रा इलाके को साफ करें।'
इसी तरह एक अन्य पोस्टर में MNS ने बांग्लादेशियों को अपने स्टाइल में देश से बाहर निकालने की धमकी दी थी।
चाहत
हिंदुत्व की विचारधारा से मजबूत होने की है चाहत
MNS की राजनीति में पकड़ लगातार ढीली होती जा रही है। वह साल 2014 से ही मुश्किल दौर से गुजर रही है। उस साल उसने नासिक नगर निगम की सत्ता खो दी थी।
इसके अलावा 2014 के बाद 2019 के चुनावों में उसकी सीटों की संख्या घटकर एक रह गई है, जबकि 2009 के चुनावों में उसके नाम 13 सीटें थीं।
ऐसे में वह अब कट्टर हिंदुत्व की विचारधारा के साथ राजनीति में फिर से मजबूती हासिल करना चाहती है।