सीमा तनाव: पूर्वी लद्दाख में चीनी सेना ने ब्लॉक किए 10 पेट्रोलिंग प्वाइंट- वरिष्ठ अधिकारी
क्या है खबर?
पूर्वी लद्दाख में वास्तविक नियंत्रण रेखा (LAC) के पास कम से कम 10 ऐसे पेट्रोलिंग प्वाइंट (PP) है, जिन्हें चीनी सेना ने ब्लॉक किया हुआ है। एक वरिष्ठ सरकारी अधिकारी ने यह जानकारी दी है।
ये 10 प्वाइंट देपसांग से लेकर पैंगोग त्सो झील तक फैले हुए हैं।
यह बात इसलिए भी महत्वपूर्ण हो जाती है क्योंकि रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने राज्यसभा को बताया था कि चीनी सेना के साथ 'पेट्रोलिंग रोकने के लिए कारण' तनाव शुरू हुआ था।
जानकारी
क्या होते हैं पेट्रोलिंग प्वाइंट?
आसान भाषा में समझें तो पेट्रोलिंग प्वाइंट्स LAC के पास बिल्कुल अंतिम जगहों को कहा जाता है, जहां तक भारतीय सैनिक अपने बेस प्वाइंट तक पेट्रोलिंग करते हैं। इन पेट्रोलिंग प्वाइंट्स तक भारत का क्षेत्र माना जाता है।
जमीनी स्थिति
चीनी सेना ने ब्लॉक किए ये पेट्रोलिंग प्वाइंट
द हिंदू ने वरिष्ठ अधिकारी के हवाले से लिखा है कि अप्रैल से ही चीनी सेना भारतीय सैनिकों को पेट्रोलिंग प्वाइंट 9, 10, 11, 12, 12A, 13, 14, 15, 17, 17A तक पेट्रोलिंग नहीं करने दे रही है। ये उत्तर में देपसांग के मैदानों से लेकर दक्षिण में पैंगोंग त्सो झील तक फैले हुए हैं।
अप्रैल से पहले तक भारतीय सैनिक यहां तक पेट्रोलिंग करते थे। बता दें कि काराकोरम से लेकर चुमार तक कुल 65 पेट्रोलिंग प्वाइंट हैं।
बयान
LAC पूरी तरह परिभाषित न होने के कारण बनी स्थिति
अधिकारी ने कहा, "चूंकि LAC पूरी तरह परिभाषित नहीं है इसलिए पेट्रोलिंग प्वाइंट को भौगोलिक दावे के लिए सबसे सही तरीका माना जाता है। अब चीनी सेना द्वारा वहां की पहुंच रोके जाने और बातचीत में दौरान बफर जोन बनाने की सहमति बनने के बाद कई इलाके भारतीय सेना की पहुंच से बाहर हो गए हैं।"
इसका मतलब यह हुआ अब भारतीय सैनिक उन जगहों तक पेट्रोलिंग नहीं कर पा रहे हैं, जहां वो पहले किया करते थे।
चीनी अतिक्रमण
देपसांग में चीनी अतिक्रमण पर कोई बातचीत नहीं
दोनों देशों के बीच गलवान घाटी की झड़प के बाद 30 जून को सैनिकों को पीछे हटाने की सहमति बनी थी।
इसमें दोनों पक्ष विवादित क्षेत्रों से पीछे हटने को तैयार हुए। साथ ही इस पर भी सहमति बनी थी कि देपसांग के मैदानी इलाकों, जहां चीन ने सैनिक इकट्ठा किए हैं, पर भी बातचीत होगी।
हालांकि, अभी तक देपसांग से चीन के अतिक्रमण पर कोई बात नहीं हुई है और न ही सरकारी बयान में इसका जिक्र हुआ है।
जमीनी स्थिति
लद्दाख में 1,000 स्क्वेयर किमी जमीन कथित तौर पर चीन के कब्जे में
रिपोर्ट के मुताबिक, लद्दाख में LAC के पास लगभग 1,000 स्क्वेयर किमी जमीन कथित तौर पर चीन के नियंत्रण में है। इनमें से 972 स्क्वेयर किलोमीटर इलाका देपसांग का है। पेट्रोलिंग प्वाइंट 10-13 देपसांग में ही आते हैं।
LAC के पास के कई इलाकों में अप्रैल-मई से चीन अपनी उपस्थिति मजबूत करता आया है। पैंगोग झील के पास फिंगर 4 से लेकर 8 तक अभी भी चीन काबिज है, जबकि भारत फिंगर 8 तक अपना नियंत्रण मानता है।
जानकारी
भारत करता रहा है अप्रैल से पहले की स्थिति बहाल करने की बात
एक और अधिकारी ने कहा, "चीन द्वारा ब्लॉक किए गए सभी इलाकों पर भारतीय सैनिक पेट्रोलिंग करते थे। अभी तक की सभी मीटिंग में हमने चीन के सामने अप्रैल से पहले की स्थिति कायम करने की बात उठाई है।"
बयान
राजनाथ बोले- दुनिया की कोई ताकत पेट्रोलिंग नहीं रोक सकती
सेना की पैट्रोलिंग से जुड़े कांग्रेस सांसद एके एंटनी के सवाल पर राजनाथ सिंह ने राज्यसभा में कहा, "दुनिया की कोई ताकत भारतीय सेना को पेट्रोलिंग से नहीं रोक सकती। चीन के साथ हमारी लड़ाई का कारण ही यही है।"
उन्होंने सदन को आश्वासन दिया कि पूर्वी लद्दाख में विवाद की जगह पर सेना की पेट्रोलिंग के पैटर्न में कोई बदलाव नहीं होगा। यह पैटर्न लंबे से चला आ रहा है और यह पूरी तरह स्पष्ट है।