मुंबई में आई बाढ़ पर आधारित होगा अमेजन प्राइम की 'मुंबई डायरीज' का दूसरा सीजन
क्या है खबर?
मौजूदा हालात में OTT प्लेटफॉर्म पर आधारित कंटेंट को अधिक तवज्जों मिल रही है। मेकर्स और दर्शक ऐसे प्रोजेक्ट में दिलचस्पी दिखा रहे हैं।
हाल में रिलीज हुई अमेजन प्राइम वीडियो की वेब सीरीज 'मुंबई डायरीज' को काफी सराहना मिली थी। इस शो का प्रसारण 9 सितंबर को अमेजन प्राइम पर हुआ था।
अब 'मुंबई डायरीज' के दूसरे सीजन की तैयारी चल रही है। खबरों की मानें तो शो का दूसरा सीजन मुंबई में आई बाढ़ पर आधारित होगा।
स्क्रिप्टिंग
मेकर्स ने पूरी की शो की स्क्रिप्टिंग- सूत्र
पीपिंगमून की रिपोर्ट के मुताबिक, 'मुंबई डायरीज' का दूसरा सीजन 2005 में आई मुंबई में बाढ़ पर केंद्रित होगा।
एक सूत्र ने कहा, "26/11 के मुंबई विस्फोटों की स्थिति को संभालने के बाद अब बॉम्बे जनरल अस्पताल के डॉक्टर और कर्मचारी 26 जुलाई को आए संकट से निपटने के लिए तैयार हैं। साल 2005 में बाढ़ के कारण मुंबई शहर ठप हो गया था। मेकर्स ने पहले ही शो की स्क्रिप्टिंग पूरी कर ली है।"
स्टार कास्ट
मोहित रैना समेत ये कलाकार फिर आएंगे नजर
सूत्र ने बताया कि जनवरी, 2022 में इस सीरीज की शूटिंग शुरू हो सकती है। खबरों की मानें तो जल्द ही इस प्रोजेक्ट का प्री-प्रोडक्शन शुरू हो जाएगा।
सीरीज के पहले सीजन में मोहित रैना, कोंकणा सेन शर्मा, प्रकाश बेलावाड़ी, सत्यजीत दुबे, नताशा भारद्वाज और मृण्मयी देशपांडे मुख्य भूमिकाओं में थे।
कहा जा रहा है कि ये कलाकार अब शो के दूसरे सीजन में भी अपनी दमदार उपस्थिति दर्ज कराएंगे। संकट की स्थिति से निपटने में उनकी अहम भूमिका होगी।
पहला सीजन
2008 में हुए आतंकी हमले पर आधारित था पहला सीजन
शो के पहले सीजन में कुल आठ एपिसोड थे। एम्मे एंटरटेनमेंट ने सीरीज का निर्माण किया था। वहीं, शो के निर्देशन की जिम्मेदारी निखिल आडवाणी ने संभाली थी।
सीरीज के पहले सीजन की कहानी 26 नवंबर, 2008 को हुए आतंकी हमले पर आधारित थी। इस हमले ने मुंबई को हिलाकर रख दिया था।
शहर पर आतंकी हमले के समय अभूतपूर्व संकट का सामना करने वाले लोगों और फ्रंटलाइन वॉरियर्स की अनकही कहानी को सीरीज में फिल्माया गया था।
घटना
2005 में मुंबई में क्या हुआ था?
26 जुलाई, 2005 को भारी बारिश के कारण मुंबई शहर ठप हो गया था। इससे लोगों का जनजीवन बुरी तरह प्रभावित हुआ था। बादल फटने के कारण मुंबई शहर में 944 मिमी से अधिक पानी बरसा था।
इस बारिश ने 100 साल का रिकॉर्ड तोड़ दिया था। इस आपदा में 1,094 लोगों की जान चली गई थी और 2,000 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ था।
रेलवे स्टेशनों, बस डिपो और एयरपोर्ट्स पर हजारों लोग फंस गए थे।