दिलीप कुमार की 100वीं जयंती पर चुनिंदा सिनेमाघरों में दिखाई जाएगी उनकी फिल्में
क्या है खबर?
'ट्रैजडी किंग' के नाम से मशहूर दिलीप कुमार का पिछले साल निधन हो गया। 7 जुलाई, 2021 को 98 साल की उम्र में उन्होंने दुनिया को अलविदा कहा था।
उनका जन्म 11 दिसंबर, 1922 को पाकिस्तान के पेशावर में हुआ था। इस साल 11 दिसंबर को उनकी 100वीं जयंती है।
इस खास मौके से पहले उनके प्रशंसकों के लिए एक खुशखबरी आई है। उनकी 100वीं जयंती पर देश के चुनिंदा सिनेमाघरों में उनकी लोकप्रिय फिल्में दिखाई जाएंगी।
फिल्म फेस्टिवल
हेरिटेज फाउंडेशन ने किया फिल्म फेस्टिवल आयोजित करने का ऐलान
फिल्म हेरिटेज फाउंडेशन ने ऐलान किया है कि दिलीप कुमार की कुछ शानदार फिल्मों को एक बार फिर से सिनेमाघरों में रिलीज किया जाएगा।
उनकी याद में 10 और 11 दिसंबर को एक फिल्म फेस्टिवल का आयोजन किया जाना है। इस फेस्टिवल को 'दिलीप कुमार हीरो ऑफ हीरोज' नाम दिया गया है।
इसमें 'आन', 'शक्ति', 'देवदास', 'राम और श्याम' जैसी उनकी फिल्में रिलीज की जाएंगी। देशभर के 20 शहरों के 30 से ज्यादा सिनेमाघरों में इन फिल्मों की स्क्रीनिंग होगी।
बयान
हेरिटेज फाउंडेशन के संस्थापक ने साझा किया अनुभव
इस फेस्टिवल के लिए फिल्म हेरिटेज फाउंडेशन ने मल्टीप्लेक्स चेन PVR सिनेमा के साथ हाथ मिलाया है।
हेरिटेज फाउंडेशन के संस्थापक शिवेंद्र सिंह डूंगरपुर ने कहा, "यह महोत्सव भारतीय सिनेमा के महान अभिनेताओं में से एक को पर्दे पर वापस लाने का अवसर है। वह वाकई 'हीरोज के हीरो' हैं। सिनेमाघरों में उनकी फिल्मों को फेस्टिवल के जरिए सेलिब्रेट करने से बेहतर कोई और तरीका नहीं हो सकता था। हमें उनकी फिल्मों को संरक्षित करने पर ध्यान देना चाहिए।"
अन्य आयोजन
इससे पहले फिल्म फेस्टिवल में दिखाई गई थी अमिताभ की फिल्में
8 अक्टूबर को बॉलीवुड के शहंशाह अमिताभ बच्चन ने अपना 80वां जन्मदिन मनाया। इस मौके पर फिल्म हेरिटेज फाउंडेशन और PVR सिनेमा ने एक फिल्म फेस्टिवल का आयोजन किया था।
इसके तहत 8 से 11 अक्टूबर तक 17 शहरों में अमिताभ की खास फिल्में दिखाई गई थीं।
इसके तहत मुंबई, दिल्ली, कोलकाता, बेंगलुरु, हैदराबाद, अहमदाबाद, सूरत, बड़ौदा, रायपुर, कानपुर, कोल्हापुर, इंदौर और अमिताभ के गृहनगर प्रयागराज में फिल्मों की स्क्रीनिंग रखी गई थी।
करियर
सदाबहार रहा दिलीप कुमार का करियर
कई सालों तक फिल्मों से दूर रहने के बावजूद दिलीप की लोकप्रियता कम नहीं हुई थी।
उनका फिल्मी करियर 1944 में फिल्म 'ज्वार भाटा' से शुरू हुआ था, लेकिन महबूब खान की फिल्म 'अंदाज' से वह चर्चा में आए थे।
फिल्म 'जुगनू' ने बॉलीवुड में दिलीप को हिट फिल्मों के स्टार की श्रेणी में लाकर खड़ा कर दिया था।
'दीदार' और 'देवदास' जैसी फिल्मों में गंभीर भूमिकाओं के लिए मशहूर होने के कारण उन्हें ट्रैजडी किंग कहा जाने लगा।
जानकारी
न्यूजबाइट्स प्लस
दिलीप को फिल्मों में लाने का श्रेय अगर किसी को जाता है तो वह देविका रानी थीं। उनका मानना था कि एक रोमांटिक हीरो के ऊपर युसूफ खान का नाम ज्यादा फबेगा नहीं। नाम की तलाश शुरू हुई और युसूफ खान, दिलीप कुमार बन गए।