नेपाल ने भारतीय सीमा में दफनाया कोरोना संक्रमित का शव, शिकायत के बाद मानी गलती
क्या है खबर?
एक तरफ तो भारत और नेपाल के बीच अंतरराष्ट्रीय सीमा मानचित्र को लेकर विवाद बढ़ता जा रहा है, वहीं दूसरी ओर नेपाल के कैलाली जिला प्रशासन ने एक कोरोना संक्रमित का शव भारतीय सीमा में दफना दिया।
मामले की सूचना मिलने पर प्रशासन और लोगों में हड़कंप मच गया। इसके बाद भारतीय अधिकारियों ने नेपाली अधिकारियों से मामले की शिकायत की तो उन्होंने गलती स्वीकार कर ली और शव को फिर से निकालने पर राजी हो गए।
प्रकरण
नदी की धारा बदलने से हुई क्षेत्र को लेकर गलती- नेपाली अधिकारी
दरअसल, गत दिनों नेपाली अधिकारियों ने उत्तर प्रदेश के लखीमपुर खीरी जिले के दुधवा टाइगर रिजर्व इलाके में गुरुवार को कोरोना संक्रमित के शव को दफना दिया था।
शिकायत करने पर गलती मानते हुए नेपाली अधिकारियों ने दावा किया कि उस दिन बहुत तेज बारिश हो रही थी। उस दौरान मोहाना नदी की धारा बदलने से सीमा क्षेत्र पहचानने में भ्रम हो गया और शव को गलती से भारतीय सीमा में दफना दिया गया। शव को फिर से निकाला जाएगा।
बयान
भविष्य में सीमा क्षेत्र का ध्यान रखने का दिया भरोसा
दुधवा टाइगर रिजर्व के फील्ड डायरेक्टर संजय पाठक ने कहा कि नेपाली अधिकारियों ने अपनी गलती मान ली है और प्रोटोकॉल के हिसाब से शव को वापस निकालने का भरोसा दिया है।
घटना के बाद मौके पर सशस्त्र सीमा बल (SSB) के जवानों की गश्त बढ़ा दी गई है। नेपाली अधिकारियों ने भविष्य में सीमा क्षेत्र का ध्यान रखने तथा इस तरह की गलती दुबारा नहीं होने का आश्वासन दिया है। मौके पर अब स्थिति सामान्य है।
अंतिम संस्कार
शुक्रवार को अन्य शव का किया जा रहा था अंतिम संस्कार
अधिकारियों ने बताया कि शुक्रवार को उसी क्षेत्र में नेपाली कर्मचारियों द्वारा एक और का शव का अंतिम संस्कार करने का प्रयास किया जा रहा था।
पाठक ने बताया कि उस दौरान SSB के जवानों ने उन्हें रोक दिया और वापस भेज दिया। इस मामले की पूरी जानकारी सरकार को भी भेज दी गई है। इसके बाद शनिवार को दुधवा टाइगर रिजर्व के उप निदेशक मनोज सोनकर ने नेपाली अधिकारियों के साथ इस संबंध में बैठक की है।
मुलाकात
नेपाली अधिकारियों ने दिया गलती नहीं दोहराने का आश्वासन
SSB कमांडेंट मुन्ना सिंह, लखीमपुर खीरी जिलाधिकारी शैलेंद्र सिंह और SSP पूनम ने नेपाली अधिकारियों के साथ मुलाकात की।
शैलेन्द्र सिंह ने कहा कि नेपाल के कैलाली जिले के मुख्य विकास अधिकारी यज्ञराज बोहरा, नेपाल के कंचनपुर जिले के सीडीओ नरहरि खाती के साथ बैठक में भाग लिया।
बोहरा ने गलती मानते हुए आश्वासन दिया कि इसे दोहराया नहीं जाएगा। इसके अलावा सभी ग्रामीणों को भी इस क्षेत्र में नहीं आने के लिए पाबंद कर दिया जाएगा।
बयान
नेपालियों ने सोचा कि उन्होंने 'नो मैन्स लैंड' में शव दफनाया
पाठक ने कहा, "नेपाली अधिकारियों को लगा कि वे 'नो मैन्स लैंड' में शव को दफना रहे हैं। उन्होंने आश्वासन दिया है कि वो शव निकाल लेंगे और आगे ऐसा नहीं करेंगे। दरअसल, जिस इलाके में शव को दफनाया गया था वह बंजर भूमि है।"
विवाद
नेपाल ने भारतीय क्षेत्रों को शामिल करते हुए जारी किया नया मानचित्र
बता दें कि इस महीने की शुरुआत में नेपाल की संसद ने संविधान संशोधन विधेयक पारित किया था। जिसमें तीन भारतीय क्षेत्रों को शामिल करते हुए देश के मानचित्र के अपडेशन की अनुमति दी थी।
इस मानचित्र में नेपाल ने भारत के लिपुलेख, कालापानी और लिंपियाधुरा को खुद का होने का दावा किया है।
इसके जवाब में भारत ने कहा, "नेपाल का यह दावा ऐतिहासिक तथ्य या सबूतों पर आधारित नहीं है और न ही इसका मतलब है।"