अप्रैल में कम बिकी हुंडई और MG की कारें, बिक्री में आई गिरावट
कोरोना वायरस महामारी की दूसरी लहर का प्रकोप भारत में ऑटो सेक्टर पर देखने को मिल रहा है। अप्रैल में भी कंपनियों ने अपनी बिक्री में गिरावट दर्ज की है। हुंडई और MG मोटर ने अप्रैल में अपनी बिक्री के आंकड़ें जारी कर दिए हैं। इनके मुताबिक हुंडई ने मार्च, 2021 की अपेक्षा अपनी बिक्री में गिरावट दर्ज की है। इसी प्रकार MG मोटर की बिक्री भी मार्च, 2021 की अपेक्षा अप्रैल में कम हुई है।
हुंडई की बिक्री में आई इतनी गिरावट
हुंडई ने पिछले महीने 59,203 यूनिट्स की बिक्री की है। वहीं, मार्च, 2021 में इसने 64,621 यूनिट्स की बिक्री की थी। कंपनी ने भारत में पिछले महीने 49,002 यूनिट्स की बिक्री की, जो मार्च, 2021 में बिकी 52,600 यूनिट्स से 6.84 प्रतिशत कम है। इसके अलावा कंपनी ने अप्रैल में 10,201 यूनिट्स का निर्यात किया है। बिक्री में गिरावट के बाद भी वह देश में पिछले महीने सबसे ज्यादा कारें बेचने वाली कंपनियों की लिस्ट में दूसरे नंबर पर है।
मार्च में अपनी बिक्री में किया था 100 प्रतिशत का इजाफा
मार्च, 2021 में हुंडई की बिक्री के आंकड़ों की तुलना पिछले साल इसी महीने में हुई बिक्री से करना मुश्किल है क्योंकि 2020 में अप्रैल में पूरे भारत में लॉकडाउन लगा था, जिस कारण एक भी यूनिट नहीं बिकी थी। हालांकि, हुंडई ने मार्च में अपनी बिक्री में पिछले साल मार्च की अपेक्षा 100 प्रतिशत का इजाफा किया था। हुंडई ने पिछले साल मार्च में 32,279 यूनिट्स की बिक्री की थी।
MG की बिक्री में आई गिरावट
MG मोटर इंडिया ने भी अप्रैल में अपनी बिक्री में गिरावट दर्ज की है। कंपनी ने भारत में अब तक सबसे अच्छी बिक्री मार्च, 2021 में की थी। कंपनी ने पिछले महीने कुल 2,565 यूनिट्स की बिक्री की है। वहीं, कंपनी ने मार्च, 2021 में कुल 5,528 यूनिट्स की बिक्री की थी, जो अब तक की सबसे ज्यादा बिक्री थी। हुंडई की तरह पिछले साल MG ने भी अप्रैल में लॉकडाउन के कारण एक भी यूनिट नहीं बेची थी।
क्यों आई बिक्री में गिरावट?
ऑटो कंपनियां की बिक्री में गिरावट के कई कारण है। भारत में कोरोना वायरस महामारी के कारण देश के कई हिस्सों में पूर्ण लॉकडाउन और कई जगहों पर आंशिक लॉकडाउन लगा दिया गया है। इस कारण बिक्री में गिरावट आई है। साथ ही अप्रैल में कंपनियों ने अपने वाहनों के दामों में भी इजाफा कर दिया है। इससे पहले जनवरी में ऑटो कंपनियों ने कीमतें बढ़ाई थी। दाम अधिक होने के कारण भी बिक्री कम हुई है।